श्रावस्ती आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत आज दिनांक 10 दिसंबर को" महामाया राजकीय महाविद्यालय, श्रावस्ती' में 'अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस' के उपलक्ष्य में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर एक गोष्ठी का आयोजन भी हुआ, इसके अंतर्गत महाविद्यालय के छात्र-छात्राओं ने अपने विचार भी रखे। उसका मुख्य निष्कर्ष यह रहा कि यदि हम अपने अधिकारों को चाहते हैं ,तो हमें कर्तव्यों की पूर्ति सही रूप से, सर्वथा सुनिश्चित करनी चाहिए। यदि हम अपने कर्तव्यों को सही तरीके से प्रतिपादित करते हैं तो सुंदर राष्ट्र, सुंदर विश्व बनाने में हमारी भूमिका चरितार्थ हो सकती है और तभी वसुधैव कुटुम्बकम् का उच्च आदर्श हम प्राप्त कर सकते हैं। इस अवसर पर कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कालेज के प्राचार्य डॉ धर्मेन्द्र गुप्त ने कहा कि आज के युग में जब लोग अपने अधिकारों के प्रति सर्वाधिक सचेष्ट हो गए हैं तो उनका परम नैतिक दायित्व बनता है कि अपने कर्तव्यों के प्रति भी अपने दायित्व का सम्मान करें, तभी सुसंस्कृत कहलाएंगे और राष्ट्र के निर्माण में अपना योगदान दे सकेंगे। इसके लिए सच्चरित्र होना, ईमानदारी ह के साथ अपने कर्तव्यों का पालन करना, साथ ही साथ सुंदर व्यक्तित्व के निर्माण के लिए प्रतिपल तत्पर होने की नितांत आवश्यकता है। इस अवसर पर कालेज के प्राध्यापक डॉ दिलीप कुमार जी, डॉ उपेंद्र सोनी जी, डॉ दुर्गा प्रसाद सिंह जी उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन, अमृत महोत्सव के संयोजक डॉ आशुतोष मिश्र जी ने किया। बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं कार्यक्रम में मौजूद रहे।